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मत-अभिलेखन
उपकरण लगाए
गए हैं।
जिनके
द्वारा सदस्य
मतविभाजन
होने की स्थिति
में शीघ्रता
के साथ अपने
मत अभिलिखित
कर सकते हैं। राज्य
सभा कक्ष लोक
सभा कक्ष की
भांति ही है।
यह आकार में
छोटा है।
इसमें 250 सदस्यों
के बैठने के
लिए स्थान
हैं। केंद्रीय
कक्ष के दरवाजे
के ऊपर हमें
पंचतंत्र से
संस्कृत का
एक पद्यांश
देखने को
मिलता है।
जिसका अर्थ
है, “यह
मेरा है तथा
वह पराया है,
इस तरह की
धारणा संकीर्ण
मन वालों की
होती है।
किंतु विशाल
हृदय वालों
के लिए सारा
विश्व ही
उनका कुटुंब
होता है।” स्वागत
कार्यालय स्वागत
कार्यालय 1975
में निर्मित
एक
वृत्ताकार
इमारत है। यह
आकार में
अधिक बड़ी
नहीं है। यह
बड़ी संख्या
में आने वाले
मुलाकातियां/दर्शकों
के लिए, जो
सदस्यों,
मंत्रियों
आदि से मिलने
के लिए या
संसद की
कार्यवाही
को देखने के
लिए आते हैं,
एक मैत्रीपूर्ण
प्रतीक्षा
स्थल है।
इमारत, पूरी
तरह से
वातानुकूलित
है। संसदीय
सौध संसदीय
सौध की इमारत 9.8
एकड़ भूखंड
पर बनी हुई है।
इसका फर्शी
क्षेत्रफल 35,000
वर्ग मीटर
है। इसका
निर्माण 1970-75 के
दौरान हुआ।
आगे तथा पीछे
के ब्लाक
तीन मंजिला
तथा बीच का ब्लाक
6 मंजिला है।
नीचे की
मंजिल पर जलाशय
जिसके ऊपर
झूलता हुआ
जीना बना हुआ
है। भूमितल
एक अत्याधुनिक
स्थान है।
यहां राष्ट्रीय
तथा
अंतर्राष्ट्रीय
सम्मेलन
होते हैं। एक
वर्गाकार
प्रांगण के
चारों ओर एक
मुख्य
समिति कक्ष
तथा चार लघु
समिति
कक्षों का
समूह है। इस
प्रांगण के
बीच में एक
अष्टकोणीय
जलाशय है।
प्रांगण में
ऊपर की ओर पच्चीकारी
युक्त जाली
का पर्दा है।
वहां पौधे
लगाकर एक
प्राकृतिक
दृश्य
तैयार किया |